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राहुल की 'वोट अधिकार यात्रा' में राजद और वामपंथी दल के नेता भी होंगे शामिल : अखिलेश प्रसाद सिंह

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पटना, 15 अगस्त . Lok Sabha में नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी 17 अगस्त से चुनावी राज्य बिहार में यात्रा की शुरुआत करेंगे. कांग्रेस पार्टी ने इस यात्रा को ‘वोट अधिकार यात्रा’ नाम दिया है. राहुल गांधी के नेतृत्व में 17 अगस्त को रोहतास जिले के सासाराम शहर से इस यात्रा की शुरुआत होगी. वहीं, कांग्रेस सांसद अखिलेश प्रसाद सिंह ने बताया कि उनकी इस यात्रा में सहयोगी दल राजद और वामपंथी दलों के नेता भी शामिल होंगे.

उन्होंने मीडिया से बातचीत में कहा कि यह यात्रा 17 अगस्त से शुरू होगी और एक सितंबर को इसका समापन होगा. यह यात्रा वोट बचाने की यात्रा है. देश ने देखा है कि किस तरह भाजपा और चुनाव आयोग का नेक्सस काम कर रहा है, यह समझा जा सकता है. जिंदा व्यक्तियों को मृत बताकर वोटर लिस्ट से नाम काट दिया गया.

भाजपा के द्वारा इस यात्रा को बांग्लादेशी घुसपैठिया बचाओ यात्रा कहने पर कांग्रेस सांसद अखिलेश प्रसाद सिंह ने कहा कि भाजपा और क्या बोलेगी? उनकी और चुनाव आयोग की चोरी पकड़ी गई है, तो उनको तो यही बोलना है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा पानी और खून एक साथ नहीं बहने को लेकर दिए गए बयान पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने उनको रोका है क्या? उन्होंने खुद ही अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के सामने सरेंडर किया.

बता दें कि राहुल गांधी के नेतृत्व में 17 अगस्त से रोहतास जिले के सासाराम शहर से ‘वोट अधिकार यात्रा’ की शुरुआत होगी. यह यात्रा बिहार के 23 जिलों से होकर गुजरेगी. इसमें कांग्रेस के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, राजद नेता तेजस्वी यादव और बिहार में गठबंधन के सभी छह घटक दलों के नेता शामिल होंगे.

रोहतास से शुरू होने के बाद राहुल गांधी की यह यात्रा 18 अगस्त को औरंगाबाद, 19 अगस्त को गयाजी और नवादा पहुंचेगी, और 20 अगस्त को विश्राम होगा. अगले दिन 21 अगस्त को लखीसराय-शेखपुरा से यात्रा दोबारा शुरू होगी, जो 22 अगस्त को मुंगेर और भागलपुर, 23 अगस्त को कटिहार और 24 अगस्त को पूर्णिया और अररिया पहुंचेगी.

‘इंडिया’ ब्लॉक के नेता 25 अगस्त को विश्राम लेंगे और 26 अगस्त को सुपौल से अपनी यात्रा फिर से शुरू करेंगे. वे 27 अगस्त को दरभंगा और मुजफ्फरपुर, 28 अगस्त को सीतामढ़ी और मोतिहारी, 29 अगस्त को बेतिया, गोपालगंज और सीवान, और 30 अगस्त को छपरा और आरा पहुंचेंगे. 31 अगस्त को विश्राम होगा और 1 सितंबर को पटना के गांधी मैदान में एक विशाल रैली के साथ इसका समापन होगा.

एमएनपी/ एसके/जीकेटी

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